Monday 25 September 2017

लम्बे ब्रेक के बाद संजय दत्त फिर परदे पर!

- एकता शर्मा 

  संजय दत्त ने 5 साल बाद फिल्‍मों में वापसी की हैं। उनकी फिल्म 'भूमि' रिलीज हो गई, जो बाप-बेटी के रिश्ते पर बनी है। इस फिल्म में अदिती राव हैदरी ने संजय की ऑन स्क्रीन बेटी का किरदार निभाया है। फिल्म में बाप बने संजय दत्त अपनी बेटी को लेकर काफी पजेसिव रहते हैं। वो चाहते हैं कि उनकी बेटी जल्दी से एक अच्छे से लड़के के साथ शादी करके अपना घर बसा लें। लेकिन, उसकी जिंदगी में एक ऐसा तूफान आता है जिस कारण उसके सारे सपने टूट जाते हैं। आखिरी में संजय खुद अपनी बेटी को एक चरित्रहीन लड़की बताते हैं। इसके अलावा जब आस-पड़ोस के लोग कहते हैं कि एक लड़की की वजह से पूरा मोहल्ला बदनाम हो रहा है, तो वे कहते हैं 'न मोहल्ला रहेगा और न बदनामी।' ये फिल्म एक पिता के बदले की कहानी है। 
  संजय दत्त के पास फिल्मों की लम्बी लाइन है। एक फिल्म 'दत्त' तो उनके जीवन पर ही बन रही है जिसमें संजय दत्त का किरदार रणवीर कपूर ने निभाया है। अपनी वापसी के साथ संजय बड़े पर्दे पर एक फिल्म में खलनायक भी बनेंगे। अजय देवगन के प्रोडक्शन बैनर में बनने वाली इस फिल्म में संजय दत्त एक डॉन के रोल में नजर आ सकते हैं। यह फिल्म साल 2014 में आई तमिल कॉमेडी एक्शन ड्रामा फिल्म 'जिगरथांडा' का रीमेक है। 
  वास्तव में ये संजय की दूसरी नहीं, बल्कि तीसरी पारी है। 'रॉकी' से अपनी अभिनय यात्रा शुरू करने वाले संजय के कैरियर को पहला ब्रेक तब लगा था, जब उनका नाम मुंबई बम कांड से जुड़ा था और उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया था। तब जेल काटने के बाद वे परदे पर लौटे थे। अब फिर वे सजा काटने के बाद दर्शकों के सामने आए हैं। करीब दर्जनभर फिल्मों में 'भाई' भूमिका निभाने वाला ये कलाकार अब एक बेटी के मजबूर पिता में दर्शकों के सामने है।     
  जेल की सलाखों में कैद रहे अभिनेता संजय दत्त की जिंदगी खुद किसी फिल्म से कम नहीं है। 2 मार्च 1993 के मंबई बम धमाकों में जब उनका नाम सामने आया था तो दुनिया सन्न रह गई थी। संजय दत्त आरोपों के घेरे में थे, लेकिन वो दोषी ठहराए गए। अवैध हथियार रखने के मामले में। मार्च 2013 में सुप्रीम कोर्ट ने संजय दत्त को पांच साल की सजा सुनाई गई और उन्होंने सजा भी काट ली। आर्म्स एक्ट के मामले में दोषी फिल्म स्टार संजय दत्त ने पुणे की यरवदा जेल में एक आम कैदियों जैसी जिंदगी ही गुजारी। सुप्रीम कोर्ट ने संजय दत्त को पांच साल की सजा सुनाई थी। लेकिन, अच्छे चाल-चलन की वजह से जेल प्रशासन की अनुशंसा से संजय दत्त को एक सौ पांच दिन पहले ही रिहाई मिल गई। 
  अपने जमाने के मशहूर अभिनेता सुनील दत्त और नरगिस दत्त के बेटे संजय दत्त नाजों से पले थे। संजय दत्त अपनी पहली फिल्म 'रॉकी' से ही लोगों के दिलों पर राज करने लगे थे। 90 के दशक में जब संजय दत्त का सितारा बुलंद था, तभी एक के बाद एक तेरह धमाकों से मुंबई दहल गई! फिर सामने आई धमाकों के साजिश की वो कहानी जिसने फिल्मों के इस हीरो को जिंदगी का विलेन बना दिया था। 
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